*पीपल और तुलसी के पेड़ का अनोखा विवाह*
*पीपल और तुलसी के पेड़ का अनोखा विवाह*
चमोली:
दशोली ब्लॉक के लाटू देवता मन्दिर में एकादशी के पावन पर्व पर पीपल पूजा का आयोजन किया गया।
ग्राम ठेली के सिताब सिंह।पुत्र उमराव सिंह द्वारा रोपित पीपल के पेड़ की पूजा अर्चना के लिए एक भव्य आयोजन किया गया।
पूजा में मेड ठेली पलेठी के भूमियाल देवता, माँ भगवती ओर वीर के अवतरित हुए और भक्तों को आशीर्वाद दिया।
पंडित सुरेन्द्र प्रसाद मैठाणी ने बताया कि पीपल का पेड़ रोपित करना हिन्दू धर्म के अनुसार बहुत ही पुण्य का कार्य है,पीपल के पेड़ को विष्णु रूप में पूजा जाता है इसकी सात्विक पूजा होती है और अगर किसी भक्त द्वारा पीपल का पेड़ रोपित किया जाता है तो उनके द्वारा अपनी समृद्धि के अनुसार पूजा अर्चना की जाती है धार्मिक और पर्यावरण की दृष्टि से हजारों वर्ष तक यह पेड़ आम जनमानस के लिए महत्वपूर्ण साबित होता है।
पेड़ रोपित करने वाले ग्राम ठेली निवासी सिताब सिंह का कहना है कि गांव के आराध्य लाटू देवता मन्दिर के पास में 18 वर्ष पूर्व पीपल का पौध रोपा गया था और तबसे लगातार इस पौध को खाद पानी देते रहे गांव के लोगो द्वारा भी इस पवित्र पौध को संरक्षित करने के लिए इसकी देखभाल की गई। उन्होंने बताया कि पेड़ चीड़ के जंगल के बीच होने के कारण फायर सीजन में आग से खतरा बना रहता है कई बार जंगल मे लगी आग से पीपल के पेड़ को बचाने के लिए वे रात को अपने घर से आधाकिमी दूर चलकर पहुचते थे।
इस दौरान सरतोली भटिंगयाला, धारकोट, भोरा , बेदुला, भौंती, मेड ठेली सेंडुंगरा, मैठाणा, चमोली गोपेश्वर से सैकड़ो की संख्या में लोग साक्षी बने।
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